ट्रेनिंग के बाद नयी जॉब ज्वाइन करने से पहले कनव जब 15 दिन को घर आया तो एक दिन मौका पाकर माँ से बोला,”माँ इस से पहले कि कोई और आपको आकर बताये, यह तस्वीर देखो ” कह कर अपना लेपटोप माँ को दिखाया जिसमे एक सुन्दर-सलोनी लड़की थी “यह इना है माँ और मैं इसके साथ डेट कर रहा हूँ, यह बंगालिन है और उम्र में मुझसे 5 साल बड़ी ‘”
कनव अब माँ का रिएक्शन देख रहा था ! रमा तो हतप्रभ ही रह गयी …..सोचने लगी, क्या ज़माना आ गया है ?एक हमारा ज़माना था कि सगाई के बाद भी कभी अकेले में ………..
यकायक दिल ने धिक्कारा …यह क्या रमा ?बेटे की इमानदारी देख,कितना साहस जुटाया होगा इसने तुझे सबकुछ बताने से पहले ? क्या डर-डर के या चोरी-छुपे मिलना जीवन है या उचित है ? शादी चाहें वो उसकी मर्ज़ी से करे या अपनी पसंद से ,आगे तो वही कनव के साथ जीवन बिताएगी …उम्र का भी लेना देना …दिल ही तो है …लड़का खुश तो तुझे भी तो …
रमा अब कनव को देख कर मुस्कुरा दी और इना के बारे में बात करने लगी !